दालचीनी से होने वाले नुकसान के बारे में जानिए

Share

दालचीनी एक ऐसा मसाला हैं जो स्वास्थ्य के लिए बहुत ही ज्यादा फायदेमंद माना जाता हैं। यह मोटापा कम करने के लिए जाना जाता हैं, साथ ही इसके सेवन से डायबिटीज को कण्ट्रोल करने में मदद मिलती हैं। दालचीनी से होने वाले नुकसान के बारे में जानिए

यह खून की सफाई भी करता हैं। इसके अलावा जब दालचीनी को शहद के साथ मिला कर सेवन किया जाता हैं तो यह पेट की बीमारियाँ, सर्दी-जुकाम, दिल की बीमारियाँ, कोलेस्ट्रॉल आदि को दूर करने में मददगार होता हैं। यानी की कुलमिला कर कहा जाये की दालचीनी के फायदे बहुत हैं तो यह गलत नहीं होगा।

  • Cinnamon side effects in hindi

दालचीनी से होने वाले नुकसान

लेकिन जैसा की कुदरत का नियम हैं की जहाँ पर किसी चीज़ के कुछ लाभ होते हैं, वहीँ पर उसी वस्तु के कुछ हानियाँ भी होती हैं। दालचीनी के सेवन से कुछ लोगो को नुकसान भी हो सकता हैं। आइये जानते हैं दालचीनी खाने के नुकसान क्या हैं?

1. पेट में जलन होना

जरूरत से ज्यादा मात्रा में दालचीनी को खाने से पेट के अंदरूनी हिस्से में जलन महसूस हो सकती हैं। पेट में अल्सर से पीड़ित मरीजों पर यह दुष्प्रभाव काफी जल्दी देखने को मिलता हैं।
हृदय की गति तेज़ होना

दालचीनी को ज्यादा मात्रा में खाने से हार्ट बीट रेट बढ़ जाती हैं। इसलिए हार्ट पेशेंट को दालचीनी का जरूरत से ज्यादा मात्रा में सेवन नहीं करना चाहिए। कई सारे पकवानों में दालचीनी के तेल का भी इस्तेमाल किया जाता हैं। दालचीनी के तेल के ज्यादा इस्तेमाल से बच्चों की हार्ट बीट तेज़ हो जाती हैं।

2. रक्त पतला बनाये

वैसे तो कैसिया दालचीनी ऐसी हैं जो खून को पतला बना देती हैं। लेकिन सीलोन दालचीनी खून को पतला नहीं बनाती हैं। ऐसे में अगर आप खून को पतला बनाने वाली दवा खा रहे हैं तो कैसिया दालचीनी के सेवन से परहेज़ करे। और अगर दालचीनी का सेवन करना ही हैं तो सीलोन दालचीनी ही इस्तेमाल करे।

3. असमय डिलीवरी होना

प्रेगनेंसी पीरियड्स में अपच और पेट दर्द से छुटकारा पाने में दालचीनी काफी मदद करता हैं। लेकिन इसे प्रेगनेंसी के समय ज्यादा नहीं लेना चाहिए। क्योंकि यह गर्भाशय में संकुचन पैदा कर देता हैं। कई बार तो यह समय से पहले ही डिलीवरी होने की वजह बन जाता हैं। इसलिए गर्भवती महिलाओं को नियमित रूप से दालचीनी का सेवन नहीं करना चाहिए। हाँ गर्भावस्था के दिनों में आप कभी कभार दालचीनी का सेवन बिना किसी परेशानी के कर सकती हैं।

इन्हें भी जरूर पढ़े…

4. स्किन में जलन होना

दालचीनी के तेल में बिना कुछ मिक्स किये डायरेक्ट स्किन पर लगाने से स्किन में जलन हो सकती हैं। इसलिए दालचीनी के तेल के इस्तेमाल के समय खास तौर पर चौकना रहना चाहिए।

5. ब्लड शुगर लेवल लो होना

बहुत ज्यादा मात्रा में सीलोन दालचीनी को लेने से ब्लड शुगर लेवल लो हो जाता हैं। यानी की एक तरफ यह डायबिटीज के मरीजों के लिए अच्छा हैं। लेकिन ज्यादा मात्रा में ब्लड शुगर लेवल लो हो जाये तो भी आपको सुस्ती और नींद आने लगती हैं। ऐसे में चाय या कॉफ़ी में सीलोन दालचीनी की छाल से बने तेल की दो से तीन बूंदे ही डाले।

6. एंटीबायोटिक

दालचीनी एक एंटीबायोटिक औषिधि की तरह काम करती हैं। ऐसे में जब आप एंटीबायोटिक दवाइयां खा रहे हैं तो उस समय दालचीनी का सेवन न करे। वर्ना इससे आपके शरीर में दुगना एंटीबायोटिक की मात्रा हो जाएगी, जिससे आपको नुकसान ही होगा। ऐसे में जब आप एंटीबायोटिक दवाएं ले रहे होते हैं तो इस समय दालचीनी के सेवन से परहेज़ करने में ही भलाई हैं।

7. लीवर की खराबी

दालचीनी के ज्यादातर प्रकारों में लगभग 5% तक कुमरीन होता हैं। इसलिए ज्यादा मात्रा में दालचीनी को लेने से लीवर फेल हो सकता हैं। इसलिए अन्य दालचीनी की तुलना में आपको सीलोन दालचीनी का सेवन ही करना चाहिए, क्योंकि सीलोन दालचीनी में केवल 0.04% तक ही कुमरिन होता हैं।

आयुर्वेदिक इंडिया ब्लॉग एक डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म है जो आयुर्वेद के प्राचीन ज्ञान पर प्रकाश डालता है, जो समग्र स्वास्थ्य, कल्याण और संतुलन में अंतर्दृष्टि प्रदान करता है। इसमें आम तौर पर आहार, योग, ध्यान, हर्बल उपचार और पंचकर्म उपचार सहित आयुर्वेदिक जीवनशैली के विभिन्न पहलुओं पर लेख, सुझाव और मार्गदर्शिकाएँ शामिल हैं। इसका उद्देश्य पाठकों को इष्टतम कल्याण के लिए आयुर्वेदिक सिद्धांतों को अपने दैनिक जीवन में शामिल करने के लिए सशक्त बनाना है।

You may also like...

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *